- एचडीबी फाइनेंशियल, एचडीएफसी सिक्योरिटीज आदि अनिस्टेड कंपनियां हैं
- इन कंपनियों में आठ हो रही है, पर खरीदने वाला कोई निवेश नहीं है
दैनिक भास्कर
05 मई, 2020, 05:11 अपराह्न IST
मुंबई। देश में अनिस्टेड स्टॉक मार्केट लगभग थमने के करीब आ गया है। क्योंकि वेल्यूएशन का भारी फटका इन कंपनियों को लग रहा है। पब्लिक मार्केट में कारोबार के लिए यह कंपनियों कुछ समय में लिस्ट होनेवाली हैं, लेकिन इस समय कोई स्पष्टता नहीं है।
जो कंपनियां लिस्ट होने के लिए सेबी के पास डीआरएचपी फाइल की हैं, उनमें प्रमुख रूप से एचडीबी फाइनेंशियल, एचडीएफसी सिक्योरिटीज, हरद फिनकॉर्प और चेन्नई सुपर किंग्स जैसी अन्य कंपनियां हैं। इन कंपनियों में आठ तो हो रही है, पर इन्हें खरीदनेवाला कोई नहीं है। शेयरों में कारोबार दो तरह से होते हैं। एक तो लिस्टेड यानी जो शेयर पैटई या एनएसई में लिस्ट होते हैं, उसमें कारोबार होता है। दूसरी अनिस्टेड यानी जो कंपनियां लिस्ट होती हैं, उसमें आईपीओ से पहले कुछ हिस्सा इन्वेस्टर्स खरीदते हैं। फिर आईपीओ में वे बेचकर उससे निकल जाते हैं। इसे अनिस्टेड मार्केट कहते हैं।
कई कंपनियों को आईपीओ के लिए मिली मंजूरी है
एक अग्रणी ब्रोकरेज हाउस के मुताबिक बाजार में इस समय गिरावट है। सेबी द्वारा डीआरएचपी को मंजूरी देने के 6 महीने बाद भी कई कंपनियां आईपीओ लाने के लिए तैयार नहीं हैं। सेकेंडरी मार्केट कम वोल्युम के साथ कारोबार कर रहा है। एचडीएफसी सिक्योरिटीज फरवरी में 9,000 रुपये प्रति शेयर कारोबार कर रही थी। अब इसका हिस्सा 7,500 रुपये पर कारोबार कर रहा है। इसकी कीमत में 20 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है।
चेन्नई सुपर किंग्स 30 रुपए से गिरकर 24 रुपए पर आ गया
इसी तरह HDB फाइनेंशियल सर्विसेज का शेयर कुछ समय पहले 1,100 रुपए पर कारोबार कर रहा था। लेकिन अब इसका वेल्यूएशन घटकर 925 रुपए हो गया है। इसकी कीमत में 33 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई है। हर फीनकॉर्प की बात करें तो यह सेकेंडरी बाजार में फरवरी में 900 रुपए प्रति शेयर कारोबार कर रहा था, अब यह 850 के स्तर पर कारोबार कर रहा है। आईपीएल की टीम चेन्नई सुपर किंग्स का अनिस्टेड शेयर 30 रुपए से घटकर 24 रुपए पर आ गया है।
लिस्टेड शेयर्स सस्ते भाव पर कर रहे हैं कारोबार
निवेशकों का मानना है कि इस आर्थिक अनिश्चितता के बीच कम से कम दो सालों के लिए पैसा अटक सकता है। स्टॉक लिस्टेड होने के बाद एक साल का ताला इन पीरियड भी होता है। एक ब्रोकर हाउस के मुताबिक जब लिस्टेड शेयर्स सस्ती कीमत पर मिल रहा है, तो अनीस्टेड शेयर की प्राप्ति करना ठीक नहीं है।) निवेश केवल अनलिस्टेड शेयर को खरीदेगा, जब लिस्टेड शेयर का वेल्यूएशन उसके पास होगा।