- रिक्टर पर भूकंप की तीव्रता 5.8 आंकी गई, पीएम ने कोई नुकसान न होने की जानकारी दी
- जेसिंडा 2017 में न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री बनी थीं, दुनियाभर में वह काफी लोकप्रिय हैं
दैनिक भास्कर
May 25, 2020, 03:01 PM IST
वेलिंगटन. न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री जेसिंडा आर्डर्न सोमवार को राजधानी वेलिंगटन में टीवी पर लाइव इंटरव्यू दे रही थीं। इसी दौरान भूकंप आ गया। वह कुछ देर के लिए रुकीं तो जरूर, लेकिन उन्होंने अपना इंटरव्यू शांतिपूर्वक जारी रखा। भूकंप पर जेसिंडा का लाइव रिएक्शन अब सुर्खियां बटोर रहा है।
जिस समय भूकंप आया आर्डर्न ने शो के होस्ट रेयान ब्रिज से कहा, ‘‘रेयान…हम एक भूकंप का सामना कर रहे हैं। यहां चीजें हिल रही हैं…अगर तुम देखो तो मेरे पीछे की चीजें भी हिल रही हैं, पार्लियामेंट बिल्डिंग थोड़ी ज्यादा हिल रही है।’’ इस दौरान कैमरा और दूसरी चीजें भी हिलने लगती हैं। इसके बाद उन्होंने अपने होस्ट को आश्वासन दिया कि वह सुरक्षित हैं और फिर से इंटरव्यू शुरू हुआ। थोड़ी ही देर में यह वीडियो सोशल मीडिया में वायरल हो गया।
Watch: New Zealand Prime Minister Jacinda Ardern barely skipped a beat when an earthquake struck during a live television interview Monday morning https://t.co/y6mi4M5mxb pic.twitter.com/L8uhle1rNT
— TIME (@TIME) May 25, 2020
भूकंप की तीव्रता 5.8 थी
जियोनेट के अनुसार, वेलिंगटन और उसके आसपास के क्षेत्र में आए भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 5.8 आंकी गई। इसका केंद्र वेलिंगटन के पास के ही शहर लेविन के उत्तर-पश्चिम में जमीन से 30 किलोमीटर अंदर था।
कोई नुकसान नहीं हुआ
प्रेस कॉन्फ्रेंस कर आर्डर्न ने जानकारी दी कि भूकंप से किसी को नुकसान नहीं हुआ। न्यूजीलैंड भूकंपीय रूप से सक्रिय ‘रिंग ऑफ फायर’ पर स्थित है। प्रशांत महासागर में यह इलाका 40 हजार किमी में फैला है। 2011 में न्यूजीलैंड के क्राइस्टचर्च शहर में 6.3 तीव्रता का भूकंप आया था, जिसमें 185 लोग मारे गए थे। 2016 में यहां साउथ आईलैंड के कैकोरा में 7.8 तीव्रता का भूकंप आया था। इसमें केवल 2 लोग मारे गए थे, लेकिन अरबों डॉलर का नुकसान हुआ था।
आर्डर्न 2017 में प्रधानमंत्री बनीं थीं
जेसिंडा आर्डर्न 2017 में न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री बनीं थीं। तब से लेकर अब तक कई संकटों का बेहतर तरीके से सामना करने के लिए कारण वह बहुत लोकप्रिय हो गई हैं। चाहे वो पिछले साल क्राइस्टचर्च में बड़े पैमाने पर गोलीबारी हो, दिसंबर में ज्वालामुखी विस्फोट या मौजूदा कोरोनावायरस महामारी हो।